सर्वे भद्राणि पश्यन्तु।
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Sunday, November 1, 2009
त्यजेत्क्षुधार्ता महिला स्वपुत्रं खादेत्क्षुधार्ता भुजगी स्वमण्डम्
त्यजेत्क्षुधार्ता महिला स्वपुत्रं खादेत्क्षुधार्ता भुजगी स्वमण्डम्।
बुभुक्षितः किं न करोति पापं क्षीणा नरा निष्करुणा भवन्ति॥
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